बैतूल, मध्यप्रदेश: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव बुधवार को बैतूल मैं महिलाओं को लेकर तमाम बड़ी घोषणाएं कर। दी हैं। इसमें से एक घोषणा लाड़ली बहनों को प्रतिमा दिए जाने वाले राशि को लेकर भी है। मुख्यमंत्री डॉक्टर यादव जिले के सारणी में आयोजित स्व सहायता समूह सम्मेलन एवं विकास कार्यों के लोकार्पण एवं भूमिपूजन कार्यक्रम में पहुंचे थे। इस दौरान उन्होंने महिलाओं को संबोधित करते हुए कहा कि, ”लाड़ली बहना योजना की राशि 1250 से बढ़ाकर 3 हजार रुपए प्रतिमाह तक की जाएगी। इसके साथ ही महिलाओं को लेकर अन्य तमाम घोषणाएं भी मुख्यमंत्री ने मंच से की।

मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने मठार देव बाबा और मां ताप्ती के जयघोष करते हुए कहा कि, ”बैतूल जिले के सारणी की महिमा न्यारी हैं, सही मायनों में धरती की शोभा सारणी में विद्यमान है. सारणी ने पूरे प्रदेश को ऊर्जा से सराबोर करते हुए विकास के कारवां को आगे बढ़ाया, जिससे मध्यप्रदेश जगमगाया. सारणी के कोल भंडार सोने की तरह हैं. बैतूल जिले को ईश्वर का भरपूर आशीर्वाद प्राप्त हुआ. कोयले के भंडार, मां ताप्ती का उद्गम, उन्नत कृषि इत्यादि प्राकृतिक संपदाओं के साथ यह जनजातीय अंचल विकास के पथ पर तेजी से आगे बढ़ रहा है. जिले के लोकप्रिय विधायक हेमन्त खंडेलवाल ने प्रदेश के पहले फूड पार्क की स्थापना बैतूल जिले में ही की है, जो स्थानीय जनप्रतिनिधियों की सेवाभावना का उदाहरण हैं.”
मुख्यमंत्री डॉ यादव ने कहा कि, ”आज मैं अपनी बहनों से मिलने बैतूल आया हूं. बहनों के जीवन में दुख की छाया कभी ना आए और उनकी हर मनोकामनाएं पूर्ण हो, इसके लिए मध्य प्रदेश सरकार संकल्पबद्ध हैं.” उन्होंने कहा कि, ”महिला सशक्तिकरण की प्रतीक देवी अहिल्याबाई की 300 वी जयंती प्रदेश भर में मनाई जा रही हैं. प्रदेश की गौरव गोंडवाना की महारानी दुर्गावती ने अपने शौर्य और पराक्रम से एक नहीं बल्कि 52 युद्ध में मुगल आक्रांताओं को परास्त किया. अपने अंतिम युद्ध में भी रानी दुर्गतावती ने गुलामी स्वीकार न करते हुए स्वयं अपने खंजर से बलिदान देकर प्रदेश को गौरवान्वित किया. ऐसा मध्य प्रदेश की बहनों का स्वर्णिम इतिहास रहा है. इसी प्रकार वीरांगना झांसी की रानी ने भी अंग्रेजों को करारी परास्त देकर देश की स्वतंत्रता की नींव रखी.”
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि, ”रानी अहिल्याबाई के आदर्शों को मध्य प्रदेश सरकार द्वारा भी ग्रहण करते हुए बहनों के कल्याण के लिए निरंतर कार्य किए जा रहे. प्रतिमाह लाडली बहनों के खाते में 1250 रुपए की राशि डाली जा रही है, जिसे आगे बढ़ाकर 3 हजार रुपए प्रतिमाह किया जाएगा. बहनों की आय 1 साल में एक लाख से अधिक हो जाए, इसके लिए लखपति दीदी अभियान जारी है. लखपति दीदी अभियान में 350 से अधिक स्व सहायता समूह काम कर रहे हैं.”
